यूपी में 623 कोरोना संक्रमित

कोरोनावायरस पर भारत की बड़ी कामयाबी, वैज्ञानिकों ने खोजा वुहान जैसा कोरोना स्ट्रेन

747 0

नई दिल्ली। कोरोनावायरस को लेकर भारत को बड़ी कामयाबी मिली है। भारत के वैज्ञानिकों ने कोरोना संक्रमित मरीजों में न सिर्फ स्ट्रेन की पहचान कर ली है, बल्कि उसे आइसोलेट (पृथक) करने में भी सफलता हासिल की है। इस उपलब्धि के बाद वायरस की जांच के लिए किट बनाने, दवा का पता लगाने और टीके का शोध करने में काफी मदद मिल सकेगी।

पुणे स्थित नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ विरोलॉजी के वैज्ञानिकों ने कोरोना को पृथक कर लिया

पुणे स्थित नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ विरोलॉजी के वैज्ञानिकों ने कोरोना को पृथक कर लिया है। अभी तक अमेरिका, जापान, थाईलैंड और चीन ही दुनिया में चार ऐसे देश हैं, जिन्हें ये कामयाबी मिली है। भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद (आईसीएमआर) के वैज्ञानिकों ने जयपुर और आगरा के संक्रमित मरीजों में स्ट्रेन को पृथक करने के बाद उसकी वुहान के स्ट्रेन से जांच की है। भारतीय मरीजों में मिला स्ट्रेन वुहान जैसा ही है। इन दोनों में 99.98 फीसदी की समानता मिली है।

माइक्रोसॉफ्ट के सह-संस्थापक बिल गेट्स का कंपनी के निदेशक मंडल से इस्तीफा

अभी तक कोरोना वायरस की जांच के लिए देशभर में 65 प्रयोगशालाएं कर रही हैं काम

बता दें कि कोरोना वायरस के अब तक भारत में 81 संक्रमित मरीज मिल चुके हैं। इनमें 17 विदेशी नागरिक भी शामिल हैं। ज्यादातर संक्रमित मरीज ऐसे हैं, जो बाहरी देशों की यात्रा करके हाल ही में लौटे हैं। इन लोगों के संपर्क में आने वाले कुछ ही फीसदी संक्रमित हुए हैं। अभी तक कोरोना वायरस की जांच के लिए देशभर में 65 प्रयोगशालाएं काम कर रही हैं। आईसीएमआर की डॉक्टर निवेदिता ने बताया कि एक प्रयोगशाला की क्षमता करीब 90 नमूनों की जांच करना है। अब तक 5900 लोगों के 6500 नमूनों की जांच हो चुकी है जिसमें 81 पॉजिटिव केस मिले हैं।

रणदीप हुड्डा बोले- सलमान के कहने पर फिल्म ‘राधे’ में निगेटिव रोल किया साइन

प्रिया अब्राहम ने बताया कि कोरोना वायरस को पृथक करने में भारत को सबसे बड़ी कामयाबी 

आईसीएमआर पुणे की वैज्ञानिक प्रिया अब्राहम ने बताया कि कोरोना वायरस को पृथक करने में भारत को सबसे बड़ी कामयाबी हासिल हुई है। इस महामारी से बचाव के लिए भारत ने पहला चरण पार कर लिया है। उन्होंने बताया कि जयपुर में मिले इटली के नागरिकों और आगरा के छह मरीजों में वायरस की जांच करने के बाद स्ट्रेन को आइसोलेट किया गया। इसके साथ ही उस स्ट्रेन का वुहान में मिलने वाले स्ट्रेन से मिलान किया गया, इनके बीच समानता मिली है। किसी भी महामारी को रोकने के लिए उसके वायरस की पहचान होना जरूरी होता है। उन्होंने बताया कि ये एक प्रकार से पहला चरण होता है जिसके बाद टीके और उपचार आदि को लेकर काम किया जाता है।

अगर सब कुछ नियंत्रण में रहा तो 30 दिन के भीतर हम कोरोना को यहीं पर रोक देंगे

आईसीएमआर के महानिदेशक डॉ. बलराम भार्गव ने इसे वैज्ञानिकों की बड़ी कामयाबी बताया है। उन्होंने कहा कि कोरोनावायरस को पृथक करने वाला भारत दुनिया का पांचवां देश बन गया है। अब कोरोना वायरस का टीका खोजने की दिशा में वैज्ञानिक आगे बढ़ सकेंगे। उन्होंने यह भी बताया कि इस वक्त लोगों के सहयोग की जरूरत है। अगर सब कुछ नियंत्रण में रहा तो 30 दिन के भीतर हम कोरोना को यहीं पर रोक देंगे।

Related Post

अब्दुल्ला आजम खान

अब्दुल्ला आजम खान को बड़ा झटका, SC का हाईकोर्ट के फैसले पर स्टे से इनकार

Posted by - January 17, 2020 0
नई दिल्ली। समाजवादी पार्टी के सांसद पार्टी के वरिष्ठ नेता आज़म खान के बेटे अब्दुल्ला आजम खान को सुप्रीम कोर्ट से…
Eknath Shinde

परिवार की सुरक्षा को लेकर एकनाथ शिंदे ने उद्धव ठाकरे को लिखा पत्र

Posted by - June 25, 2022 0
मुंबई: शिवसेना के बागी नेता और महाराष्ट्र के कैबिनेट मंत्री एकनाथ शिंदे (Eknath Shinde) ने शनिवार को मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे…
CM Dhami

सीएम धामी ने जेलों की आधुनिकीकरण प्रक्रिया में तेजी लाने के दिए निर्देश

Posted by - October 11, 2022 0
देहरादून। मुख्यमंत्री  पुष्कर सिंह धामी (CM Dhami) ने राज्य में जेल विकास बोर्ड के रिवाल्विंग फण्ड स्थापित करने पर सहमति…