पीएफआई

UP: पीएफआई के 108 सदस्य गिरफ्तार, सीएए के खिलाफ हिंसा भड़काने का आरोप

815 0

लखनऊ। पीएफआई मामले में अपर मुख्य सचिव अवनीश अवस्थी और डीजीपी हितेश चंद्र अवस्थी ने आज सोमवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस की हैं। जिसके चलते नागरिकता कानून को लेकर हुई हिंसा में एक बड़ा खुलासा हुआ है। अपर मुख्य सचिव अवनीश अवस्थी और डीजीपी हितेश चंद्र अवस्थी ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर कहा है कि दंगे पीएफआई ने भड़काए थे।

उन्होंने बताया कि पिछले चार दिन में अब तक पीएफआई के 108 सदस्य गिरफ्तार किए गए हैं। यूपी पुलिस इस मामले में शिकंजा कस लिया हैं। साथ ही कहा की यह अभी शुरूआती कार्रवाई है। चार दिनों के लिए विशेष अभियान चलाया गया था। पहले भी पीएफआई के 25 पदाधिकारी और सदस्य गिरफ्तार हो चुके हैं। यूपी के 13 जनपदों में पीएफआई संगठन सक्रिय है।

108 गिरफ्तारियां में लखनऊ से 14, सीतापुर से तीन, मेरठ से 21, गाजियाबाद से 9, मुजफ्फरनगर से 6, शामली से सात, बिजनौर से 4, वाराणसी से 20, कानपुर से 5, गोंडा से एक, बहराइच से 16, हापुड़ से एक और जौनपुर से एक सदस्य को गिरफ्तार किया गया है।

वहीं, एडीजी मेरठ जोन प्रशांत कुमार ने कहा कि मेरठ जोन में अभी 75 से 80 सदस्य और चिन्हित किए गए हैं। एडीजी ने कहा कि गलत आंदोलन के लिए पीएफआई को फंडिंग की गई। ईडी बैंक खाते खंगाल रही है। उन्होंने कहा कि छोटे ज़िले शामली में नेटवर्क पनप रहा है। शामली से खालिस्तान और रोहिगियां लोगों की गिरफ्तारी पहले भी हो चुकी है।

बता दें नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) के खिलाफ हिंसा भड़काने के आरोप में यूपी पुलिस ने पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएफआई) के आठ सदस्यों को गिरफ्तार किया था। जिनमें से पांच को कानपुर और तीन को लखनऊ से गिरफ्तार किया गया था।

आरोपी प्रदर्शनों के लिए महीनों से फंड मुहैया करवा रहे थे। शुक्रवार को गंगा यात्रा में सीएम के कार्यक्रम का विरोध करने के लिए भीड़ जुटाने की तैयारी में थे। इसके पहले ही इन्हें बृहस्पतिवार रात बेगमपुरवा में बैठक करते हुए गिरफ्तार किया गया।

कानपुर में इंस्पेक्टर राजीव सिंह ने बताया, गिरफ्तार लोगों में रामबाग कॉलोनी निवासी मोहम्मद उमर, फहीमाबाद निवासी सैयद अब्दुल हाशमी, कुली बाजार निवासी फैजान मुमताज, अनवरगंज निवासी मोहम्मद वासिफ और सरवर आलम हैं।

फिल्मफेयर अवार्ड शो नॉमिनेश नाइट के रेड कार्पेट से अनन्या का नया लुक वायरल 

आरोपियों ने पूछताछ में बताया, 20 दिसंबर को बाबूपुरवा और यतीमखाना में हुई हिंसा इनका हाथ था। इनका नेतृत्व वसीम कर रहा था, जो हिंसा के कुछ दिन बाद लखनऊ में गिरफ्तार किया गया।

वहीं, लखनऊ से गिरफ्तार आरोपियों की पहचान शकीलुर रहमान, शबी खान और मोहम्मद अरशद के रूप में हुई है। इन्होंने 19 दिसंबर को प्रदर्शन के दौरान कथित तौर पर हिंसा भड़काई। उपद्रवियों ने मदेयगंज चौकी जला दी थी। एडीसीपी उत्तरी राजेश कुमार श्रीवास्तव के मुताबिक, पुलिस ने 11 नामजद व 200 अज्ञात लोगाें के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया था।

फंड भेज रही थी आईएसआई

पुलिस के अनुसार पीएफआई के बड़े नेता कर्नाटक और तमिलनाडु से फंड मुहैया करवा रहे थे। यह फंड सरहद पार से आईएसआई भेज रही थी। पांचों आरोपियों को फंड से भीड़ जुटाने और हिंसा के लिए सामान जुटाने की जिम्मेदारी दी गई थी। आरोपियों ने अपने संगठन के कई और सदस्यों के नाम भी बताए हैं।

Related Post

SS Sandhu

वाईब्रेंट विलेज का हर गांव विशिष्ट है: मुख्य सचिव

Posted by - September 27, 2023 0
देहरादून। मुख्य सचिव डॉ. एस.एस. संधु (SS Sandhu) की अध्यक्षता में सचिवालय में वाईब्रेंट विलेज कार्यक्रम के अंतर्गत राज्य स्तरीय स्क्रीनिंग…

J&K के पंपोर में सेना का एक्शन, लश्कर कमांडर उमर मुश्ताक खांडे को घेरा, एक आतंकी ढेर

Posted by - October 16, 2021 0
श्रीनगर। जम्मू-कश्मीर में आतंकियों के खिलाफ सुरक्षाबलों का ऑपरेशन लगातार जारी है। इसी कड़ी में पुलवामा में एक बार फिर…
पैडवूमेन IAS सईद सहरीश असगर

जम्मू-कश्मीर की पैडवूमेन IAS सईद सहरीश असगर पढ़ा रही हैं स्वच्छता का पाठ

Posted by - July 2, 2019 0
नई दिल्ली। जम्मू-कश्मीर के बडगाम में कार्यरत एक महिला आईएएस ऑफिसर हैं। वह अपनी रूटीन की प्रशासनिक ड्यूटी के दौरान…