Wheat

प्रदेश के छह हजार केंद्रों पर एक अप्रैल से शुरू होगी गेहूं की खरीद

230 0

लखनऊ: उत्तर प्रदेश के 6000 क्रय केंद्रों पर गेंहू (Wheat) की खरीद एक अप्रैल से शुरू होगी और 15 जून तक चलेगी। सरकार ने रबी विपणन वर्ष 2022-23 के लिए गेहूं का एमएसपी (Minimum Support Price) 2015 रूपये प्रति कुन्तल तय किया है। खरीद का लक्ष्य 60 लाख मिट्रिक टन रखा गया है। गेहूं की खरीद के लिए किसानों को आनलाइन रजिस्ट्रेशन कराना होगा लेकिन धान बेंचने के लिए विपणन वर्ष 2021-22 में जिन किसानों ने पंजीकरण (Registration) कराया है तो उन्हें दोबारा रजिस्ट्रेशन की आवश्यकता नहीं है। बल्कि उन्हें अपने पुराने विवरण को अपडेट कर लाक करना होगा।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बृहस्पतिवार को समीक्षा बैठक में अधिकारियों को स्पष्ट निर्देश दिया कि किसी क्रय केन्द्र पर गेहूं बेंचने में किसानों के समक्ष कोई समस्या नही आनी चाहिए। मुख्यमंत्री ने यह भी निर्देश दिया कि क्रय केन्द्रों का चयन इस प्रकार किया जाए ताकि किसानों को अपना गेहूं बेंचने के लिए अधिक दूरी तय न करना पड़े । भंडारण गोदामों और क्रय केंद्रों पर गेहूं की सुरक्षा की पर्याप्त व्यवस्था होनी चाहिए । प्रत्येक दशा में किसानों को गेंहू का न्यूनतम समर्थन मूल्य मिलना चाहिए। लिहाजा सभी केन्द्रों पर पूरी पारदर्शिता के साथ खरीद की जाए और किसानों को उनकी उपज का भुगतान समयबद्ध कर दिया जाए।

मुख्यमंत्री ने स्पष्ट निर्देश दिये कि गेहूँ की खरीद सीधे किसानों के माध्यम से की जाये और जिलाधिकारी यह सुनिश्चित करें कि किसानों से गेहूँ न्यूनतम समर्थन मूल्य रू0 2015 प्रति कुन्टल से कम दर पर क्रय न किया जाय तथा गेहूँ क्रय में विचौलियों की संलिप्तता कदापि न हो। खाद्य एवं रसद विभाग द्वारा तय कार्यक्रम के मुताबिक 1 अप्रैल से 15 जून तक गेहूं की खरीद होगी । सरकार ने 60 लाख मैट्रिक टन गेहूं खरीद का लक्ष्य रखा है। विभागीय अधिकारियों के मुताबिक सरकारी क्रय केंद्रों पर गेहूं विक्रय के लिए हर किसान को खाद्य विभाग के पोर्टल https://fcs.up.gov.in/ पंजीकरण कराना अनिवार्य होगा।

हालांकि खरीफ विपणन वर्ष 2021-22 में धान खरीद के लिए पंजीकरण करा चुके किसानों को दोबारा पंजीयन की जरूरत नहीं होगी, केवल अपने पुराने विवरण को अपडेट कर लॉक करना होगा। किसानों को गेहूं के मूल्य का भुगतान उनके बैंक खाते में ही होगा, ऐसे में एक्टिव बैंक खाता ही पंजीयन विवरण में दिया जाना चाहिए। न्यूनतम समर्थन मूल्य योजना के अन्तर्गत गेहूँ क्रय हेतु खाद्य विभाग की विपणन शाखा, मंडी परिषद, पीसीएफ, पीसीयूपीएसएस एसएफसी एवं भाखा नि.क्रय संस्था के रूप में नामित हैं।

यह भी पढ़ें : कोई भी मरीज इलाज के बिना अस्पताल से वापस न जाए: सीएम योगी

अच्छी साख एवं आर्थिक स्थिति वाले एफपीओ, एफपीसी, पंजीकृत सहकारी समितियों एवं मल्टी स्टेट कोऑपरेटिव सोसाइटी भी क्रय एजेन्सियों से सम्बद्ध होकर गेहूं क्रय कर सकेगी। प्रत्येक क्रय केन्द्र पर 2 इलेक्ट्रानिक कांटा, डस्टर अथवा विनोइंग फैन व छलना, नमी मापक यंत्र आदि उपकरण रखे जायेंगे, जिसकी उपलब्धता सुनिश्चित कराये जाने का दायित्य मण्डी परिषद का है। किसानों की सुविधा हेतु क्रय केन्द्रों पर बैठने, छाया एवं पेयजल की व्यवस्था सुनिश्चित करायी जायेगी। क्रय केन्द्रों पर खरीद ई-पोप के माध्यम से किसानों अथवा उनके अधिकृत प्रतिनिधि के बायोमैट्रिक सत्यापन के आधार पर की जायेगी। किसानों को क्रय मूल्य का भुगतान उनके आधार लिंक बैंक खाते में कराया जायेगा।

यह भी पढ़ें : ‘लोक कल्याण संकल्प पत्र’ में ग्राम्य विकास विभाग के बिन्दुओं की कार्ययोजना तत्काल तैयार की जाय: केशव

Related Post

मुस्लिम युवक की पिटाई मामले में तीन आरोपी गिरफ्तार, विरोध में बजरंग दल का हनुमान चालीसा पाठ

Posted by - August 13, 2021 0
धर्मपरिवर्तन के आरोप में कानपुर में मुस्लिम युवक के साथ मारपीट का मामला तूल पकड़ता जा रहा है। इस मामले में…
Diabetic Retinopathy Treatment Center

डायबिटिक मरीजों के लिए योगी सरकार स्थापित करेगी रेटिनोपैथी ट्रीटमेंट सेंटर

Posted by - May 5, 2022 0
लखनऊ। प्रदेश में जल्‍द ही योगी सरकार डायबिटिक रेटिनोपैथी ट्रीटमेंट सेंटर (Diabetic Retinopathy Treatment Center ) की स्‍थापना करने जा रही…
Swachh Bharat Mission

स्वच्छ भारत मिशन (नगरीय) द्वारा ’स्ट्रेटेजिक वर्कशॉप एवं प्रदर्शनी’ का आयोजन

Posted by - November 4, 2022 0
लखनऊ। स्वच्छ भारत मिशन (Swachh Bharat Mission) उत्तर प्रदेश द्वारा राजधानी में शुक्रवार को एक द‍िवसीय ’स्ट्रेटेजिक वर्कशॉप एवं प्रदर्शनी’ का…