नई दिल्ली। इस साल 21 जून को सूर्य ग्रहण लग रहा है। भारत में सूर्य ग्रहण का धार्मिक और ज्योतिष के नजरिये से बहुत महत्व है और इसको लेकर कई तरह की मान्यताएं हैं। सूर्य ग्रहण से करीब 12 घंटे पहले सूतक लगता है। मान्यताओं के अनुसार इस दौरान यानी सूतक लगते ही नकारात्मक शक्तियों का प्रभाव बढ़ता है। ऐसे में इस दौरान धार्मिक कार्यों को वर्जित माना जाता है और सूतक की शुरुआत के साथ ही मंदिरों के कपाट भी बंद कर दिए जाते हैं।
उत्तराखंड के चारों धामों बद्रीनाथ, केदारनाथ, गंगोत्री और यमुनोत्री के कपाट आज रात सूतक काल की शुरुआत के साथ ही बंद कर दिए जाएंगे
न्यूज एजेंसी ‘एएनआई’ के हवाले से कहा गया है कि सूर्य ग्रहण की वजह से उत्तराखंड के चारों धामों बद्रीनाथ, केदारनाथ, गंगोत्री और यमुनोत्री के कपाट आज रात सूतक काल की शुरुआत के साथ ही बंद कर दिए जाएंगे। सूर्य ग्रहण के बाद मंदिर के परिसरों की साफ-सफाई के बाद इनके द्वार खोले कर पूजा-अर्चना की जा सकेगी।
उत्तराखंड: आज रात 10.25 बजे से सूतक शुरू होगा जो 21जून रविवार की दोपहर 1.53 बजे तक रहेगा। धर्माधिकारी के मुताबिक कल रविवार को दो बजे के बाद चारों धामों के मंदिर परिसरों की साफ-सफाई के बाद ही पूजा-अर्चना की जाएगी। (फाइल तस्वीरें बद्रीनाथ-केदारनाथ) https://t.co/kLfjwMlQHu pic.twitter.com/EMtn7BaNZH
— ANI_HindiNews (@AHindinews) June 20, 2020
बद्रीनाथ धाम के धर्माधिकारी भुवन चंद्र उनियाल ने बताया कि सूतक सूर्य ग्रहण के 12 घंटे पहले ही शुरू हो जाएगा
बद्रीनाथ धाम के धर्माधिकारी भुवन चंद्र उनियाल ने बताया कि सूतक सूर्य ग्रहण के 12 घंटे पहले ही शुरू हो जाएगा। इसलिए चारों धामों के कपाट आज रात 10 बजे से बंद कर दिए जाएंगे। इसके बाद रविवार दोपहर 2 बजे के बाद इनके परिसरों की साफ-सफाई के बाद ही पूजा होगी। इनके द्वार फिर से खोले जाएंगे। सूर्य ग्रहण के दौरान सूर्य चंद्रमा की छाया से पूरी तरह ढंक जाएगा और केवल बाहरी किनारे का गोलाकार भाग दिखाई देगा। इसलिए इस खगोलीय घटना को रिंग ऑफ फायर भी कहा जा रहा है।