मुंबई। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण का दूसरा बजट शेयर बाजार उम्मीदों पर खरा नहीं उतरा है। आम बजट 2020-21 से निराश शेयर बाजार ने शनिवार को भारी गोता लगाया है।
बंबई शेयर बाजार का सेंसेक्स 988 अंक टूटकर 40,000 अंक के स्तर से नीचे आ गया
इससे बंबई शेयर बाजार का सेंसेक्स 988 अंक टूटकर 40,000 अंक के स्तर से नीचे आ गया है। बाजार जानकारों ने कहा कि निवेशकों को उम्मीद थी कि सरकार सुस्त पड़ती अर्थव्यवस्था को रफ्तार देने के लिए कदम उठाएगी। बजट को लेकर उनकी उम्मीदें काफी ऊंची थीं, लेकिन बजट उम्मीदों पर खरा नहीं उतरा है। बंबई शेयर बाजार का 30 शेयरों वाला सेंसेक्स दिन में एक समय 1275 अंक टूट गया था। अंत में यह पिछले बंद के मुकाबले 987.96 अंक या 2.42 फीसदी के नुकसान से 39,735.53 अंक पर बंद हुआ। कारोबार के दौरान यह 40,905.78 से 39,631.24 अंक के दायरे में घटता बढ़ता रहा।
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सेंसेक्स की कंपनियों में आईटीसी में सबसे अधिक 6.97 फीसदी की गिरावट आई
नेशनल स्टॉक एक्सचेंज का निफ्टी 300.25 अंक या 2.51 फीसदी टूटकर 11,661.85 अंक पर आ गया। 2019 में बजट के दिन निफ्टी 11,811.15 अंक पर बंद हुआ था। सेंसेक्स की कंपनियों में आईटीसी में सबसे अधिक 6.97 फीसदी की गिरावट आई। एलएंडटी, एचडीएफसी, एसबीआई, ओएनजीसी, आईसीआईसीआई बैंक और इंडसइंड बैंक के शेयर भी नीचे आए।
बजट में चालू वित्त वर्ष में राजकोषीय घाटे के लक्ष्य को भी बढ़ाकर 3.8 फीसदी किया
वहीं दूसरी ओर टीसीएस का शेयर 4.13 फीसदी चढ़ गया। हिंदुस्तान यूनिलीवर, नेस्ले इंडिया, टेक महिंद्रा और इन्फोसिस के शेयरों में भी तेजी दर्ज की गई। वित्त मंत्री सीतारमण ने 2020-21 का बजट पेश करते हुए कंपनियों से डिविडेंड डि (डीडीटी) हटाने का प्रस्ताव किया है। अब इसका बोझ डिविडेंड पाने वालों पर पड़ेगा। बजट में चालू वित्त वर्ष में राजकोषीय घाटे के लक्ष्य को भी बढ़ाकर 3.8 फीसदी किया गया है। पहले इसके 3.3 फीसदी रहने का अनुमान लगाया गया था।
एमके ग्लोबल फाइनेंशियल सर्विसेज के प्रबंध निदेशक कृष्ण कुमार कारवा ने कहा कि लॉन्ग टर्म कैपिटल गेन (एलटीसीजी) टैक्स पर कोई राहत नहीं मिलने और क्षेत्र के लिए किसी बड़े प्रोत्साहन के अभाव में निवेशक निराश हैं।