लखनऊ। उन्नाव दुष्कर्म पीड़िता की मौत के बाद विपक्षी दल के नेताओं ने योगी सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। विभिन्न राजनीतिक दलों के नेताओं ने सरकार से जल्द इंसाफ दिए जाने की मांग की है। इधर घटना को लेकर यूपी में सियासत भी गरमा गई है।
पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव विधान भवन के सामने दो मिनट का मौन रख धरना दिया
राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव विधान भवन के सामने दो मिनट का मौन रख धरना दिया। सपा अध्यक्ष यूपी सरकार को पीड़िता की मौत का जिम्मेदार बताया है।
Lucknow: Samajwadi Party leader and Former Chief Minister Akhilesh Yadav is sitting on a 'dharna' outside Vidhan Sabha in protest against Unnao rape case. pic.twitter.com/5N9U12ETqr
— ANI UP (@ANINewsUP) December 7, 2019
मायावती ने कहा कि केंद्र सरकार दोषियों को निर्धारित समय के भीतर फांसी की सख्त सजा दिलाने का कानून बनाए
वहीं बसपा सुप्रीमो मायावती ने कहा है कि केंद्र सरकार ऐसी घटनाओं के दोषियों को निर्धारित समय के भीतर फांसी की सख्त सजा दिलाने का कानून बनाए। राज्य सरकारों को चाहिए कि वे लोगों में कानून का खौफ पैदा करें।
बता दें कि हैवाननियत के बाद आग के हवाले की गई उन्नाव दुष्कर्म पीड़िता ने शुक्रवार देर रात को यहां सफदरजंग अस्पताल में दम तोड़ दिया। पीड़िता को लखनऊ से एयरलिफ्ट करके दिल्ली लाया गया था। अस्पताल के ‘बर्न एवं प्लास्टिक सर्जरी’ विभाग के प्रमुख डॉ. शलभ कुमार ने बताया कि तमाम कोशिशों के बावजूद पीड़िता को बचाया नहीं जा सका।
पीड़िता का भाई बोला-हैवानों का हो एनकाउंटर या फांसी पर लटकाया जाए
उधर, पीड़िता के भाई का कहना है कि उसकी बहन को तभी न्याय मिलेगा। जब उसके साथ क्रूरता करने वाले उन सभी आरोपियों का भी वही हश्र हो जो उसकी बहन ने झेला है। उसने कहा कि मैं बहुत दुखी हूं कि उसे बचा नहीं सका। आरोपियों को या तो एनकाउंटर कर दिया जाए या फांसी पर लटकाया जाए। ऐसे हैवानों को जीने का कोई हक नहीं है। पीड़िता के भाई ने बताया कि आरोपियों ने तो पहले ही उसे जला दिया है, अब हम उसके शव को दफनाएंगे। दिल्ली महिला आयोग की अध्यक्ष स्वाति मालीवाल ने कहा कि सरकार बहरी और असंवेदनशील हो गई है। दुष्कर्म पीड़िताओं की चीखें उसे सुनाई नहीं देती हैं।