Lok Adalats

दाम्पत्य विवादों को सुलझाने में भी लोक अदालतें निभा रहीं सकारात्मक भूमिका

392 0

लखनऊ। उत्तर प्रदेश में लॉ एंड ऑर्डर की स्थिति को सुधारने के साथ-साथ योगी सरकार ने न्यायिक प्रक्रिया तक आम लोगों की पहुंच को आसान बनाने के जो प्रयास किए हैं, वह अब धरातल पर अपना असर दिखाने लगे हैं। इसी क्रम में, उत्तर प्रदेश में लोक अदालतें (Lok Adalats) भी जनता को जटिल कानूनी प्रक्रियाओं के पेंच से निकालकर लंबित मामलों के त्वरित निस्तारण का मार्ग प्रशस्त कर रही है। जटिल न्यायिक प्रक्रिया में सरलीकरण की यह मुहिम रंग ला रही है और यूपी स्टेट लीगल सर्विसेस अथॉरिटी की रिपोर्ट ने इस बात पर मुहर भी लगा दी है। रिपोर्ट के अनुसार, प्रदेश में वर्ष 2022-23 व 2023-24 के मध्य अब तक कुल 6 चरणों में लोक अदालतें लगाई गईं जिसमें कुल मिलाकर रिकॉर्ड 3.30 करोड़ मामलों का निस्तारण हुआ।

वहीं, दांपत्य व पारिवारिक विवाद के मामलों को सुलझाने में भी उत्तर प्रदेश में लगाई गई लोक अदालतों (Lok Adalats) को व्यापक सफलता मिली है। यही कारण है कि बात चाहें अपराधिक मामलों में न्याय की हो, पारिवारिक व दांपत्व विवाद सुलझाने की हो या फिर बैंक रिकवरी के केसेस में त्वरित समाधान उपलब्ध कराने की हो, उत्तर प्रदेश एक मिसाल बनकर उभरा है। उत्तर प्रदेश देश में उन राज्यों में शुमार है जो लगातार मिसाल कायम कर रहे हैं। लोक अदालतों (Lok Adalats) के जरिए जटिल न्यायिक प्रक्रिया के सरलीकरण व त्वरित समाधान उप्लब्ध कराने की दिशा में योगी सरकार के नेतृत्व में उत्तर प्रदेश देश के अन्य राज्यों के लिए रोल मॉडल सरीखा साबित हो रहा है।

दांपत्य व पारिवारिक विवादों के निस्तारण में आई तेजी

यूपी स्टेट लीगल सर्विसेस अथॉरिटी की रिपोर्ट के अनुसार, वर्ष 2022-23 व वर्ष 2023-24 के मध्य अब तक 6 चरणों में प्रदेश भर में लोक अदालतें (Lok Adalats) लगाई गईं। इनमें पारिवारिक विवादों के निस्तारण के साथ ही दांपत्व विवादों के मामलों में त्वरित समाधान व निस्तारण उपलब्ध कराने की प्रक्रिया पर जोर दिया गया है। उल्लेखनीय है कि प्रदेश में इन विवादों को सुलझाने के लिए प्री लिटिगेशन स्टेज में ही सुलह कराए जाने और दोनों पक्षों के बीच आम सहमति बनाने के लिए प्रयास किए जाते हैं। वहीं, दांपत्य व पारिवारिक विवादों से जुड़े मामलों के अलग से निस्तारण के लिए स्पेशल लोक अदालतें भी लगाई जाती हैं।

इस क्रम में, प्रदेश भर की सिविल कोर्ट्स में लोक अदालत संबंधी हेल्प डेस्क्स की स्थापना की गई है। रिपोर्ट के अनुसार, 12 मार्च 2022 को हुई लोक अदालत में पारिवारिक व दांपत्य विवाद से जुडे कुल 635 मामलों का निस्तारण किया गया। जबकि, 14 मई 2022 को लगाई गई लोक अदालत में 849, 13 अगस्त 2022 को लगाई गई लोक अदालत में 936, 12 नवंबर 2022 को लगाई गई लोक अदालत में 1244, 11 फरवरी 2023 को लगाई गई लोक अदालत में 1154 व 21 मई 2023 को आयोजित लोक अदालत में 814 मामलों का निस्तारण हुआ है। इस प्रकार वर्ष 2022 से मई 2023 तक कुल मिलाकर 5632 मामलों के निस्तारण में सफलता मिली है।

बैंक रिकवरी केसेस के निस्तारण में भी सकारात्मक भूमिका

रिपोर्ट के अनुसार, यूपी स्टेट लीगल सर्विसेस अथॉरिटी (यूपीएसएलएसए) के पेट्रन इन चीफ व एग्जीक्यूटिव चेयरपर्सन ने की सलाह पर प्रदेश में बैंक रिकवरी के बढ़ते मामलों को देखते हुए एक विशेष लोक अदालती सत्र (Lok Adalats Session) का आयोजन इश वर्ष 17 व 18 मार्च को किया गया था। इसमें भी व्यापक सफलता प्राप्त करते हुए कुल 27782 मामलों के निस्तारण व त्वरित समाधान उपलब्ध कराए जाने की प्रक्रिया को पूर्ण कर लिया गया।

Bageshwar By Election Result: भाजपा प्रत्याशी पार्वती दास भारी मतों से विजयी

रिपोर्ट में इस बात का भी उल्लेख है कि प्रदेश में आयोजित होने वाली सभी लोक अदालतों के बारे में लोगों को जागरुक करने, उनके आयोजन तिथि की जानकारी उपलब्ध कराने और प्रासंगिकता के बारे में लोगों को अवगत कराने के लिए भी राज्य सरकार व न्यायिक विभाग द्वारा व्यापक प्रयास किए जा रहे हैं।

Related Post

Mahakumbh 2025

महाकुंभ में भी लागू होगा ‘डिजिटल अटेंडेंस’ सिस्टम, AI बेस्ड फेशियल रिकग्नीशन मोबाइल ऐप बनेगा माध्यम

Posted by - July 12, 2024 0
लखनऊ। उत्तर प्रदेश को ‘उत्तम प्रदेश’ बनाने की दिशा में प्रयासरत योगी सरकार ने महाकुंभ मेला-2025 (Maha Kumbh) के आयोजन…
akhilesh-yadav

CM योगी से अखिलेश का सवाल, टीका लगाने के बावजूद स्वास्थ्यकर्मियों को कैसे हुआ कोरोना

Posted by - April 10, 2021 0
लखनऊ। उत्तर प्रदेश में लगातार बढ़ रहे कोरोना के मामलों को लेकर पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव (Akhilesh Yadav) ने सीएम…