Namami Gange Mission

महाकुम्भ 2025 में निर्मल गंगा के संकल्प को साकार कर रहा नमामि गंगे मिशन

147 0

महाकुम्भ नगर। महाकुम्भ 2025 (Maha Kumbh) को न केवल आध्यात्मिकता का महापर्व, बल्कि स्वच्छता और पर्यावरण संरक्षण का आदर्श प्रतीक बनाने के लिए नमामि गंगे मिशन (Namami Gange Mission) ने अनूठी और व्यापक योजनाओं को लागू किया है। गंगा की पवित्रता और सतत प्रवाह को सुनिश्चित करने के लिए, प्रयागराज में वर्तमान में 10 सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट (एसटीपी) संचालित हो रहे हैं, जिनकी कुल क्षमता 340 एमएलडी है।

महाकुम्भ 2025 (Maha Kumbh) की विशेष तैयारियों को सशक्त बनाने के लिए नमामि गंगे मिशन (Namami Gange Mission) की ओर से तीन नई महत्वाकांक्षी परियोजनाओं को स्वीकृति दी गई है, जिनके अंतर्गत सलोरी में 43 एमएलडी, रसूलाबाद में 90 एमएलडी और नैनी में 50 एमएलडी क्षमता के अतिरिक्त एसटीपी का निर्माण किया जा रहा है। इन परियोजनाओं का उद्देश्य महाकुम्भ के दौरान श्रद्धालुओं को स्वच्छ और प्रदूषणमुक्त गंगा जल उपलब्ध कराना ही नहीं, बल्कि गंगा की अविरलता और निर्मलता को दीर्घकालिक रूप से सुनिश्चित करना भी है।

सभी नालों को किया गया टैप

गंगा और यमुना नदियों की निर्मलता और स्वच्छता को पुनर्स्थापित करने के लिए प्रयागराज में अद्वितीय प्रयास किए जा रहे हैं। कभी 81 नालों से प्रदूषित होने वाली इन नदियों की कहानी अब बदल रही है। नमामि गंगे मिशन (Namami Gange Mission) और राज्य सरकार के संयुक्त प्रयासों से, इन नालों को स्वच्छता की धारा में परिवर्तित करने की दिशा में उल्लेखनीय प्रगति हुई है। वर्तमान में, 81 में से 37 नालों को पूरी तरह टैप कर उनका उपचार किया जा चुका है, जिससे इन नदियों में प्रदूषण का प्रवाह रुक गया है। इसके अलावा, 5 नालों को सूखा या अप्रभावी पाया गया है, जिन्हें किसी प्रकार के उपचार की आवश्यकता नहीं है।

यही नहीं, महाकुम्भ 2025 (Maha Kumbh) की तैयारियों के तहत, राज्य सरकार ने अपने बजट में 17 नालों को टैप करने का दायित्व लिया है और इसके लिए आवश्यक संसाधन व प्रौद्योगिकी उपलब्ध कराई जा रही है। शेष 22 नालों को टैप करने का कार्य नमामि गंगे मिशन (एनएमसीजी) के नेतृत्व में किया जा रहा है, जो स्वच्छता और पर्यावरण संरक्षण के इस अभियान को नई ऊंचाइयों तक ले जा रहा है।

अत्याधुनिक तकनीक का किया जा रहा उपयोग

महाकुम्भ 2025 (Maha Kumbh) को स्वच्छ, सुरक्षित और पर्यावरण के अनुकूल बनाने के लिए नमामि गंगे मिशन (Namami Gange Mission) द्वारा शुरू की गईं दूरदर्शी योजनाओं का उद्देश्य गंगा और यमुना नदियों की निर्मलता और स्वच्छता को बनाए रखना है, ताकि नदियों की पवित्रता के साथ-साथ पर्यावरणीय संतुलन को भी संरक्षित किया जा सके। गंगा और यमुना को निर्मल और अविरल बनाए रखने के लिए अत्याधुनिक तकनीक, योजनाबद्ध अवसंरचना और समाज की सक्रिय भागीदारी के माध्यम से सुनिश्चित किया जा रहा है कि गंगा और यमुना की पवित्रता आने वाली पीढ़ियों तक अक्षुण्ण बनी रहे। मिशन की यह पहलें केवल महाकुम्भ को सफल बनाने तक सीमित नहीं है, बल्कि इसका लक्ष्य प्रयागराज की सीवरेज अवसंरचना को दीर्घकालिक रूप से मजबूत करना भी है।

Related Post

डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य का विपक्ष पर हमला, कहा- ‘कोरोना काल में जनता को भड़काया’

Posted by - October 7, 2021 0
प्रयागराज। कौशांबी के जिला मुख्यालय मंझनपुर में नवनिर्मित बस डिपो में आयोजित पीएम वर्चुअल संवाद कार्यक्रम के समापन के बाद डिप्टी…
Mahant nritya gopal das

लखनऊ मेदांता से ड‍िस्‍चार्ज हुए महंत नृत्य गोपाल दास, हालत में हुआ सुधार

Posted by - April 30, 2022 0
लखनऊ: अयोध्या आंदोलन (Ayodhya Movement) में अहम भूमिका निभाने वाले और श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट (Shri Ram Janmabhoomi Teerth…

मुनव्वर राना की गिरफ्तारी पर रोक से हाईकोर्ट का इनकार, याचिका खारिज

Posted by - September 3, 2021 0
महर्षि वाल्मीकि की तुलना तालिबान से करने के मामले में अरोपी शायर मुनव्वर राना की गिरफ्तारी पर रोक लगाने से…

कोविंड19 के नियमों को पालन कराने हेतु पुलिस ने लोगो से की अपील

Posted by - March 21, 2021 0
उपजिलाधिकारी मलिहाबाद  के नेतृत्व में तहसीलदार शम्भू शरण व सीओ मलिहाबाद योगेंद्र कुमार ने तहसील क्षेत्र के अंतर्गत कस्बा बाजार…