योग

योग कैंसर जैसी गंभीर बीमारियों से लड़ने की दे सकता है ताकत

981 0

 

नई दिल्ली। राजीव गांधी कैंसर इंस्टीट्यूट एंड रिसर्च सेंटर ने बताया कि वैज्ञानिक प्रमाण नहीं मिलने बावजूद योग कैंसर जैसी गंभीर बीमारी से बचाने और लड़ने में कारगर है, क्योंकि योग एवं ध्यान से कैंसर के मरीजों को तनाव, अवसाद और थकान से राहत मिलती है।

उन्होंने कहा कि इस बात के वैज्ञानिक प्रमाण भले ही नहीं मिले हैं, लेकिन कई बार देखा गया है कि योग एवं ध्यान से कैंसर के मरीजों को तनाव, अवसाद और थकान से राहत मिलती है। उन्होंने बताया कि इससे जीवन स्तर सुधरता है और मरीज का रोग प्रतिरोधक बेहतर होता है। यह भी देखा गया है कि योग से कैंसर मरीज की इच्छाशक्ति मजबूत होती है। रोगी बीमारी से ज्यादा बेहतर तरीके से लड़ने में सक्षम होता है।

सिल्वर स्क्रीन पर रणवीर- कैटरीना की जोड़ी साथ आ सकती है नजर

डॉ. हर्षा अग्रवाल का कहना है कि कैंसर के इलाज के दौरान मरीजों में कुछ साइड इफेक्ट देखने को मिलते हैं। ऐसा पाया गया है कि योग इनसे बचने में मदद करता है। प्राणायाम सांसों को नियमित करने में मदद करता है तो कई अलग-अलग आसन शरीर की क्षमता और लचीलापन बढ़ाते हैं। इनसे मरीज की थकान भी मिटती है। उन्होंने बताया कि इन सबसे बड़ी बात, कि योग मानसिक रूप से मजबूती देता है।

डॉ. अग्रवाल ने बताया कि योग की ये सभी खूबियां मिलकर उसे कैंसर मरीजों के लिए बेहतर बना देती हैं। कैंसर के कई मरीज योग से फायदा होने की बात कह चुके हैं। उन्होंने कहा कि योग के अलग-अलग प्रकार अलग-अलग तरीके से असर डालते हैं। पवनमुक्तासन और उत्तान पादासन के साथ शीतली, शीतकारी और सदन्त प्राणायाम को कीमोथेरेपी के कारण आने वाले चक्कर और उल्टी की समस्या से निजात दिलाने वाला पाया गया है।

Related Post

रामपुर में एक प्रदर्शनकारी की मौत

यूपी: नागरिकता संशोधन कानून के खिलाफ प्रदर्शन, रामपुर में एक प्रदर्शनकारी की मौत

Posted by - December 21, 2019 0
रामपुर। नागरिकता संशोधन कानून और राष्ट्रीय नागरिकता रजिस्टर के खिलाफ देश के कई जगहों पर विरोध प्रदर्शन जारी है। वहीं…
अमित शाह

अमित शाह बोले-CAA से एक इंच पीछे नहीं हटेंगे, यह कानून अल्पसंख्यकों के खिलाफ नहीं

Posted by - January 3, 2020 0
जोधपुर। केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने शुक्रवार को साफ तौर कहा कि बीजेपी नागरिकता कानून के अपने फैसले कायम है।…