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प्रवासियों को रास आ रहा है यूपी सरकार की मातृभूमि योजना

Mathrubhumi scheme

Mathrubhumi scheme

लखनऊ। रोड शो से खाड़ी देशों के प्रवासियों (Migrants) के दिल को छू गया उत्तर प्रदेश सरकार का प्रयास। फ़रवरी में प्रस्तावित ग्लोबल इन्वेस्टर समिट में निवेशकों को निमंत्रित करने लिये कैबिनेट मंत्री राकेश सचान के नेतृत्व में अधिकारीयों का दल रोड शो के लिये यूएई भी आया हुआ है। 13 दिसंबर को दुबई में आयोजित रोड शो में प्रवासियों (Migrants) ने बढ़ चढ़ कर हिस्सा लिया और बिजनेस के साथ मातृभूमि योजना (Mathrubhumi scheme) के तहत भी करोड़ों के निवेश का प्रस्ताव दिया।

खाड़ी देशों में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को लेकर भी बहुत क्रेज है और हर व्यक्ति उनके सुशासन की तारीफ कर रहा है। यहां रह रहे प्रवासी यूपी सरकार के मातृभूमि योजना (Mathrubhumi scheme) को सबसे अधिक पसंद कर रहें हैं। निवेश  के साथ कई निवेशकों ने मातृभूमि योजना में रुचि दिखाई। यूपी डायस्पोरा के लिए काम करने वाली संस्था उत्तर प्रदेश डेवलपमेंट फोरम (यूपीडीएफ) के प्रयास से भी बहुत सारे प्रवासी इस रोड शो से जुड़ रहें हैं। यूपीडीएफ के चेयरमैन पंकज जायसवाल के अनुसार खाड़ी देशों से गया निवेश भावनात्मक निवेश ज्यादा होगा जिसमें अपने गांव और देश को बढ़िया करने का भाव भी शामिल होगा।

अब तक सिर्फ यूएई से दस हजार करोड़ से अधिक का निवेश प्रस्ताव आ चुका है। यहां रह रहे प्रवासियों का कहना है की निवेश के लिए खाड़ी देशों में प्रवासियों के साथ साथ यहां के जो स्थानीय निवासी जिनके पास अथाह पैसा है और जो निवेश के लिए इच्छुक रहते हैं उनके पास पुनः एक बार आने पर कई गुना निवेश आ सकता है। सरकार को यूएई को लक्षित करना चाहिये।

बकौल जायसवाल खाड़ी देशों में अभी भी बहुत संभावनाएं हैं, दुनिया से जीवाश्म ईंधन के खत्म हो रहे बाजार के साथ वह खुद दुनिया में वैकल्पिक निवेश के अवसर तलाश रहें हैं। यदि इसी सही समय पर उन्हें सम्पर्क किया जाय तो तो सिर्फ यूएई से गया निवेश ही बाकी देशों से आये निवेशों के कुल राशि से ज्यादा होगा। यूएई के लोग भारत को प्यार और सम्मान करते हैं, खाड़ी देशों के लोकल निवासियों को निवेश आकर्षित करना यूपी के लिए एक आसान काम होगा।

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